Gonda Train Accident: गोंडा में ट्रेन हादसा, चंडीगढ़-डिब्रूगढ़ एक्सप्रेस के डिब्बे पटरी से उतरे, दो की मौत
दो यात्रियों के पैर कटे, दो दर्जन से अधिक घायल, हर तरफ मची चीख
गोंडा। (Gonda Train Accident) उत्तर प्रदेश के गोंडा रेलवे स्टेशन से गोरखपुर वाया डिब्रूगढ़ जा रही चंडीगढ़-डिब्रूगढ़ एक्सप्रेस (15904) की 14 बोगियां पटरी से उतरकर पलट गईं। हादसे में मृतकों के परिजनों को दस-दस लाख, गंभीर रूप से घायलों को ढाई-ढाई लाख रुपये की सहायता राशि देने का ऐलान किया गया है। (Gonda Train Accident)
उत्तर प्रदेश के गोंडा के पास चंडीगढ़-डिब्रूगढ़ एक्सप्रेस के 14 डिब्बे पटरी से उतर जाने के कारण कम से कम दो लोगों की मौत हो गई जबकि 31 घायल हैं। दो गंभीर रूप से घायल यात्रियों को लखनऊ रेफर किया गया है। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने घटना का संज्ञान लेकर स्थानीय प्रशासन को प्रभावित यात्रियों की हरसंभव मदद का निर्देश दिया है। उन्होंने अधिकारियों से यह सुनिश्चित करने के लिए कहा कि घायलों को सही चिकित्सा सुविधा उपलब्ध हो। (Gonda Train Accident)
उत्तरी सीमांत रेलवे (एनएफआर) के मुख्य जनसंपर्क अधिकारी सब्यसाची डे ने बताया, ट्रेन नंबर 15904 चंडीगढ़ से बुधवार रात 11.59 बजे डिब्रूगढ़ के लिए रवाना हुई थी। बृहस्पतिवार को ट्रेन गोंडा रेलवे स्टेशन पर दोपहर 2.25 बजे पहुंची और 2.28 बजे यहां से निकली। गोंडा मुख्यालय से करीब 18 किलोमीटर दूर मोतीगंज-झिलाही बाजार के बीच 2.41 बजे ट्रेन बेपटरी होकर पलट गई। एक-एक करके 14 कोच पटरी से उतरकर पलटते गए।
प्रत्यक्षदर्शियों ने बताया, हादसे के बाद करीब 500 मीटर तक पटरी उखड़ गई। इलेक्ट्रिक लाइन भी क्षतिग्रस्त हो गई। हादसे की प्रारंभिक वजह बारिश के कारण पटरी के दोनों तरफ जलभराव होने से ट्रैक का बैठना बताया जा रहा है। हालांकि कुछ मीडिया समूहों ने ट्रेन के ड्राइवर के हवाले से बताया है कि उसने दुर्घटना से पहले धमाके की आवाज सुनी थी। हालांकि इसकी रेलवे ने पुष्टि नहीं की है। दुर्घटनास्थल राजधानी लखनऊ से करीब 150 किलोमीटर दूर है। दुर्घटना के तुरंत बाद आसपास के ग्रामीणों ने पलटे एसी कोच के शीशे तोड़कर अंदर फंसे यात्रियों को बाहर निकाला। कुछ ही देर में एसडीआरएफ, पुलिस व आरपीएफ के जवानों ने भी मोर्चा संभाल लिया।
पूर्वोत्तर रेलवे की महाप्रबंधक सौम्या माथुर ने घटनास्थल का जायजा लिया। उन्होंने दो रेल यात्रियों की मौत की पुष्टि करते हुए बताया कि मृतकों की शिनाख्त की जा रही है। हादसे में 31 रेल यात्री घायल हुए हैं, जिनमें दो की हालत गंभीर है। 26 घायलों को मनकापुर सीएचसी व तीन अन्य को सीएचसी काजीदेवर में भर्ती कराया गया है। नौ घायलों को गोंडा मेडिकल कॉलेज भेजा गया।
पूर्वोत्तर रेलवे ने जानकारी दी है कि पटरी से उतरी ट्रेन में फंसे यात्रियों को बस से गोंडा के पास मनकापुर स्टेशन लाया जा रहा है। उनके लिए मनकापुर से डिब्रूगढ़ तक रास्ते में स्टॉपेज के साथ एक विशेष ट्रेन की व्यवस्था की गई है।
सौ किमी थी रफ्तार
24 कोच वाली ट्रेन के इंजन के बाद एसी के छह कोच लगे थे, जिनमें दो कोच पटरी से उतरकर पलट गए। इसके बाद एसी के चार अन्य कोच भी पलट गए। विभागीय सूत्रों के अनुसार हादसे के समय ट्रेन की रफ्तार करीब सौ किमी प्रतिघंटे से अधिक थी।
शीशे तोड़कर यात्रियों को बाहर निकाला गया
दुर्घटना के बाद डीएम नेहा शर्मा और एसपी विनीत जायसवाल के साथ अन्य अफसरों ने मौके पर पहुंचकर राहत कार्य तेज कराया। डीएम ने बताया कि दो शवों को पोस्टमार्टम के लिए भेजा गया है, जबकि घायलों का बेहतर उपचार कराया जा रहा है। आसपास के ग्रामीणों ने पलटे एसी कोच के शीशे तोड़कर अंदर फंसे यात्रियों को बाहर निकाला। एसडीआरएफ, पुलिस व आरपीएफ के जवानों ने मोर्चा संभाल लिया।
पूर्वोत्तर रेलवे की महाप्रबंधक सौम्या माथुर ने घटनास्थल का जायजा लिया। उन्होंने दो रेल यात्रियों की मौत की पुष्टि करते हुए बताया कि इनकी शिनाख्त की जा रही है। हादसे में 31 रेल यात्री घायल हुए हैं, जिनमें दो गंभीर हैं। 26 घायलों को मनकापुर सीएचसी व तीन अन्य घायलों को सीएचसी काजीदेवर में भर्ती कराया गया है। नौ घायलों को गोंडा मेडिकल कॉलेज लाया गया हैं। पूरे मामले की जांच के आदेश दे दिये गये हैं। चंडीगढ़-डिब्रूगढ़ एक्सप्रेस ट्रेन चंडीगढ़ से बुधवार की रात 11.59 बजे डिब्रूगढ़ के लिए चली थी। बृहस्पतिवार को ट्रेन गोंडा रेलवे स्टेशन पर दोपहर 2.25 बजे पहुंची थी और 2.28 बजे रवाना हुई।
गोंडा मुख्यालय से करीब 18 किलोमीटर दूर मोतीगंज-झिलाही बाजार के बीच में पिकौरा गांव के पास ट्रेन करीब 2.41 बजे पहुंची थी। जहां ट्रेन बेपटरी होकर पलट गई। 24 बोगियों वाली ट्रेन के इंजन के बाद एसी की छह बोगियां लगीं थीं, जिसमें दो बोगी पटरी से उतरकर नीचे गिरीं, इसके बाद एसी की चार अन्य बोगियां भी पटरी से लटक गईं। गाड़ी की रफ्तार सौ किमी प्रतिघंटे से अधिक होने के चलते अचानक ब्रेक लगाना प्रमुख कारण रहा। बताया जा रहा है कि इसके बाद ट्रेन के करीब आठ अन्य बोगियां भी पटरी से उतरकर गईं। देर शाम तक एसी की दो बोगियां पटरी के नीचे पानी में पड़ी हैं।
यात्रियों ने इसमें कुछ लोगों के फंसे होने की जानकारी दी गई। इस पर एनडीआरएफ की टीम ने बोगियों को खंगाला। देर शाम तक बोगियों की पड़ताल हुई, किसी के फंसे होने की पुष्टि हो प्रशासन ने नहीं की। हादसे में गोंडा-गोरखपुर रेलवे लाइन की करीब 200 मीटर तक की लाइन भी उखड़ गई है, वहीं इलेक्ट्रानिक तार भी टूट गये हैं। घायलों को अस्पताल पहुंचाने के साथ ही यात्रियों को मनकापुर रेलवे स्टेशन भेजा गया। जहां से उन्हें आगे की यात्रा के लिए ट्रेन मिल सके। हादसे के चलते 11 ट्रेनों को डायवर्ट किया गया।
पूर्वोत्तर रेलवे ने जारी किये पांच हेल्पलाइन नंबर
पूर्वोत्तर रेलवे के जनसंपर्क अधिकारी पंकज कुमार सिंह ने चंडीगढ़-डिब्रूगढ़ एक्सप्रेस के दुर्घटनाग्रस्त यात्रियों की मदद की कार्रवाई के बारे में जानकारी दी। राहत एवं बचाव कार्य युद्धस्तर पर किया जा रहा है। रेल यात्रियों की मदद एवं अन्य जानकारी के लिए रेलवे द्वारा हेल्पलाइन नंबर जारी किये गये हैं। वहीं हादसे के चलते इस रूट पर आने व जाने वाली सभी ट्रेनों को डायवर्ट कर दिया गया है। लखनऊ से वाया अयोध्या गोरखपुर के लिए ट्रेनें रवाना की जाएंगी। गोंडा के लिए 8957400965, लखनऊ के लिए 8957409292, सीवान के लिए 9026624251, छपरा के लिए 8303979217 तथा देवरिया सदर के लिए 8303098950 हेल्पलाइन नंबर जारी किया है। वहीं डीएम गोंडा ने कंट्रोल रूम का नंबर 05262- 230125, 358560 नंबर जारी किया है। वाणिज्यिक नियंत्रण-9957555984, फुरकेटिंग जंक्शन-9957555966, मिरयानी: 6001882410, सिमलगुड़ी: 8789543798, तिनसुकिया: 9957555959, डिब्रूगढ़: 9957555960।
बलरामपुर से होकर गुजरेंगी छह ट्रेनें, सतर्कता बढ़ी
गोंडा में हुए ट्रेन हादसे के बाद जिले से होकर छह ट्रेनों का संचालन किया जाएगा। इसको लेकर पूर्वोत्तर रेलवे प्रशासन ने आदेश जारी कर दिया है। स्थानीय रेलवे स्टेशन पर अतिरिक्त प्रबंध किए गए हैं। साथ ही सतर्कता भी बढ़ा दी गई है। पूर्वोत्तर रेलवे के मुख्य जनसंपर्क अधिकारी पंकज कुमार सिंह ने बताया कि 12555 गोरखपुर-बठिण्डा गोरखधाम एक्सप्रेस, 12553 सहरसा-नई दिल्ली वैशाली एक्सप्रेस, 15273 रक्सौल-आनन्द विहार टर्मिनस सत्याग्रह एक्सप्रेस, 19038 बरौनी-बांद्रा टर्मिनस एक्सप्रेस, 22537 गोरखपुर-लोकमान्य तिलक टर्मिनस कुशीनगर एक्सप्रेस, 13019 हावड़ा-काठगोदाम बाघ एक्सप्रेस का मार्ग परिवर्तन किया गया है। इसे बढ़नी-गोंडा के रास्ते चलाया जाना है। ऐसे में यह ट्रेन गोंडा से होकर गुजरेगी।
ट्रेनों के परिचालन के साथ ही स्टेशन पर चौकसी बढ़ाई गई है। रेलवे सुरक्षा बल को ट्रेनों के आवागमन के दौरान भीड़ को नियंत्रित करने को कहा गया है। वहीं, स्वास्थ्य सेवाओं को अलर्ट मोड पर रखा गया है। सीएमओ डॉ. मुकेश कुमार ने बताया कि डॉक्टरों की टीम व एंबुलेंस को तैयार कर दिया गया है। जैसे ही गोंडा से मांग होती है, उन्हें रवाना कर दिया जाएगा।
हादसे की सीआरएस जांच, मृतकों के परिजनों को 10-10 लाख की मदद
पूर्वोत्तर रेलवे की महाप्रबंधक सौम्या माथुर ने बताया कि चंडीगढ़-डिब्रूगढ़ एक्सप्रेस ट्रेन हादसे की रेल संरक्षा आयुक्त (सीआरएस) जांच करेंगे। रेल मंत्रालय ने हादसे में मृतकों के परिजनों को दस-दस लाख, गंभीर रूप से घायलों को ढाई-ढाई लाख और सामान्य चोटिल मुसाफिरों को 50-50 हजार रुपये की सहायता राशि देने का ऐलान किया है। दुर्घटना में घायलों को गोंडा मेडिकल कॉलेज में इलाज अधिकारियों की निगरानी में हो रहा है। सीडीओ एम. अरुन्मौली ने सीएमओ डॉ. रश्मि वर्मा के साथ घायलों का हाल जाना। सीडीओ ने बताया कि मरीजों के इलाज के विशेष इंतजाम किये गये हैं। वहीं रेल हादसे की पड़ताल के लिए पुलिस महकमे के उच्चाधिकारी मौके पर पहुंचे। देर शाम तक अधिकारी मौके पर डटे रहे।
डिब्रूगढ़ के लिए मनकापुर पहुंची ट्रेन
रेल हादसे में सुरक्षित बचे हजारों की संख्या में यात्रियों को मनकापुर रेलवे स्टेशन भेजा गया था। उन्हें बस्ती, गोरखपुर, देवरिया होते हुए डिब्रूगढ़ से जाने वाले यात्रियों को गंतव्य तक पहुंचाने के लिए रेलवे ने इंतजाम किये। आनन-फानन में चंडीगढ़ से डिब्रूगढ़ एक्सप्रेस ट्रेन की तरह की एक ट्रेन गोमतीनगर से बनकर मनकापुर पहुंची। जिसमें यात्री सवार हुए और उन्हें लेकर ट्रेन रवाना हुई।
चंडीगढ़-डिब्रूगढ़ एक्सप्रेस ट्रेन हादसे में घायलों की सूची
नितिन तिवारी- गोंडा,
जितेंद्र – सुल्तानपुर,
प्राची – सुल्तानपुर,
सुशीला देवी – मधुबनी छपरा
खुशी- बिहार
विकास- छपरा
जगदीश- पता अज्ञात
संजय कुमार- पता अज्ञात
सर्वेश शुक्ल- पता अज्ञात
छोटी- बिहार
तरुन – गोलाघाट
भोलू – बिहार
शंभू कुमार – बिहार
अनीता – बिहार
मोनू तिवारी- बिहार
रवि कुमार – छपरा बिहार
प्रमोद यादव – गोरखपुर
नार मोहम्मद – पता अज्ञात
शिवा कुमार- बिहार
राज- चंडीगढ़
वीरेंद्र – बेतिया बिहार
नरसिंह- बिहार
सुमेर सिंह- पंचपुती जगतापुर मनकापुर गोंडा
देवेंद्र – पता अज्ञात
समीर सिंह – पंचपुती जगतापुर मनकापुर गोंडा
शौकत अली – बिहार
विनय कुमार – मुजफ्फरपुर
रमन – परसपुर गोंडा
सुनील कुमार – बाजीपुर कुशीनगर
छोटी कुमारी – मधुबनी बिहार
अनीता देवी – चंडीगढ़
प्रमोद यादव – गरिहा सिकरी गोरखपुर
शिवम कुमार – सरदैया मोतीपुर बिहार
मनोज पांडेय – चंडीगढ़
सर्वेश शुक्ल- खसियारा दुधारा संतकबीर नगर
एडमुंड लाकड़ा- नागा गांव डीमापुर नागालैंड
शंभु कुमार- मधैली महलगांव अररिया बिहार
ननकन- पोखाती गुलखात बिहार
पिछले महीने ही कंजनजंघा एक्सप्रेस से टकराई थी मालगाड़ी
पिछले ही महीने 17 जून को पश्चिम बंगाल के न्यूजलपाईगुड़ी स्टेशन के पास कंजनजंघा एक्सप्रेस को एक मालगाड़ी ने पीछे से टक्कर मार दी थी। इसमें 10 मौतें हुईं थीं। इससे पहले 2023 में ओडिशा के बालासोर में तीन ट्रेनों के आपस में टकराने से कम से कम 293 यात्री मारे गए थे।
मुख्यमंत्री योगी ने गोंडा रेल हादसे का लिया संज्ञान
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने गोंडा जिले में बृहस्पतिवार को हुए रेल हादसे का संज्ञान लेकर अधिकारियों को तत्काल मौके पर जाकर राहत एवं बचाव कार्य तेजी से कराने का निर्देश दिया। उन्होंने घायलों के समुचित इलाज कराने का भी निर्देश दिया। वहीं जिला प्रशासन के अधिकारियों को पीड़ितों को हरसंभव मदद मुहैया कराने को कहा। बता दें कि हादसे के बाद मुख्यमंत्री के निर्देश पर आसपास के जिलों के सभी अस्पतालों, सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्रों, प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्रों को अलर्ट मोड पर रहने को कहा गया है। साथ ही, नजदीकी जिलों में तैनात एनडीआरएफ और एसडीआरएफ की टीमों को भी तत्काल मौके पर जाकर राहत एवं बचाव कार्य के निर्देश दिए गये।
ट्रेन हादसे पर अखिलेश यादव ने जताया शोक
समाजवादी पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष और पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने गोंडा में चंडीगढ़-डिब्रूगढ़ एक्सप्रेस ट्रेन दुर्घटना में हुई मौतों पर गहरा शोक जताया है। अखिलेश यादव ने घायलों के शीघ्र स्वस्थ होने की कामना करते हुए सरकार से घायलों की अच्छी चिकित्सा उपलब्ध कराने की मांग की है।
हादसे के बाद दो ट्रेन निरस्त, 16 के मार्ग में परिवर्तन
चंडीगढ़ से डिब्रूगढ़ जा रही एक्सप्रेस ट्रेन (15904) हादसे के बाद दो यात्री ट्रेनों को रेलवे विभाग ने निरस्त कर दिया। इसके अलावा 16 ट्रेनों का रूट डायवर्ट किया है। डायवर्ट की गई ट्रेनों को अयोध्या-मनकापुर होकर चलाया जा रहा है। इस कारण रेलवे स्टेशन गोंडा पर यात्रियों को काफी दिक्कतें उठानी पड़ी। सैकड़ों श्रद्धालु माता वैष्णो देवी जाने से वंचित रह गए। टिकट घर में टिकटों का कैंसिल करने के लिए यात्रियों के भीड़ लगी रही।
पूर्वोत्तर रेलवे के लखनऊ डिवीजन के जनसंपर्क अधिकारी महेश गुप्ता ने बताया कि ट्रेनों को डायवर्ट किया गया है। जिसमें वैशाली, गोरखधाम, सप्तक्रांति, बिहार संपर्क क्रांति, सत्याग्रह, बांद्रा, कुशीनगर, बाघ, लखनऊ-बरौनी, लखनऊ-गोरखपुर इंटरसिटी, ग्वालियर-बरौनी सहित 16 ट्रेनों का मार्ग में परिवर्तन करके गोंडा से बलरामपुर एवं मनकापुर से अयोध्या के बीच चलाई गई। ट्रेनों के डायवर्ट किये जाने से यात्रियों में खलबली मची जा रही है। कई अन्य मुसाफिरों को यात्रा निरस्त करनी पड़ी।
एक के बाद एक रेल हादसों की जिम्मेदारी कौन लेगा : खरगे
कांग्रेस के राष्ट्रीय अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे ने कहा कि नरेंद्र मोदी सरकार देश की रेल सुरक्षा को लगातार खतरे में डाल रही है। एक के बाद एक रेल दुर्घटनाओं की जिम्मेदारी कौन लेगा। पीएम और रेल मंत्री प्रचार के किसी मौके से नहीं चूकते तो उन्हें ऐसी भारी चूक की भी सीधी जिम्मेदारी लेनी चाहिए। उन्होंने हादसे के शिकार लोगों के प्रति संवेदना जताई और घायलों के शीघ्र स्वस्थ होने की कामना की।
खरगे ने कहा, एक माह पहले कंचनजंगा एक्सप्रेस और मालगाड़ी के बीच टक्कर पर खुद रेलवे सुरक्षा आयुक्त ने कहा है कि हादसा तो होना ही था। स्वचालित सिग्नल की विफलता के कारण यह दुर्घटना हुई थी, संचालन प्रबंधन में कई स्तरों पर चूक, तथा लोको पायलट और ट्रेन मैनेजर के पास वॉकी-टॉकी जैसे महत्वपूर्ण सुरक्षा उपकरणों की अनुपलब्धता को इसका कारण बताया गया है। फिर भी सरकार ने कोई सबक नहीं लिया। कांग्रेस ने सभी मार्गों पर सुरक्षा के लिए कवच सिस्टम जल्द से जल्द लगाने की मांग भी की।
तृणमूल ने रेल मंत्री को ठहराया जिम्मेदार
तृणमूल कांग्रेस की सांसद और राष्ट्रीय प्रवक्ता सुष्मिता देव ने कहा कि हादसे के लिए रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव जिम्मेदार हैं। रेलवे अब सुरक्षित नहीं है। वहीं, पार्टी की दूसरी सांसद महुआ मोइत्रा ने कहा कि ऐसा लगता है कि मोदी सरकार के 10 वर्ष के कार्यकाल के बाद रेलवे आपातकालीन कक्ष में पहुंच चुका है।