Ballia News: बलिया वसूली रैकेट के मास्टरमाइंड थानेदार पन्नेलाल गिरफ्तार
पन्नेलाल ने सरेंडर किया. इसके बाद बलिया एसओजी उसे साथ लेकर गई.
बलिया। (Ballia News) यूपी के बलिया जिला बॉर्डर पर वसूली कांड मामले को लेकर कार्रवाई की गई है. भरौली बॉर्डर पर छापेमारी कर अवैध रूप से वसूली करने के मामले में फरार नरही थाने के थानेदार पन्नेलाल कन्नौजिया को आखिरकरा आज यानी रविवार को बलिया पुलिस ने गोरखपुर से गिरफ्तार कर ही लिया. गिरफ्तारी के लिए पन्नेलाल के गांव एसओजी बलिया पहुंची थी जहां उसकी पत्नी और परिवार को हिरासत में लेने और पूछताछ करने का दबाव बनाया गया. जिसके बाद पन्नेलाल ने सरेंडर किया. इसके बाद बलिया एसओजी उसे साथ लेकर गई. (Ballia News)
मामले का खुलासा और आरोपी की तलाश
मामले का खुलासा करने वाले वाराणसी जोन के एडीजी पीयूष मोर्डिया ने बलिया के साथ ही आजमगढ़ व मऊ की एसओजी टीमें भेजी थी ताकि आरोपी पुलिसकर्मियों की गिरफ्तारी की जा सके. नरही थाने के निलंबित थानेदार पन्नेलाल जोकि फरार था उसकी तलाश में एसओजी टीम ने उसके पैतृक निवास पर आज यानी रविवार सुबह दबिश डाली. गोरखपुर के गोला थाना क्षेत्र के भरसी गांव में पन्नेलाल का पैतृक निवास है. जहां उसके घर पर न मिलने से टीम ने पत्नी और उसके परिवार के अन्य सदस्यों को हिरासत लेने का दबाव बनाया.
सादे कपड़े में थी पुलिस
पत्नी और परिवार के सदस्यों को हिरासत में लेने सूचना पर पन्नेलाल ने एसओजी टीम के सामने सोमवार को कोर्ट में सरेंडर करने की बात कही. बलिया एसओजी को ये नहीं मंदूर था जिसके बाद पन्नेलाल दोपहर बाद घर बाइक से पहुंचा और गोला पुलिस की मौजदूगी में अपना सरेंडर कर डाला. पन्नेलाल कन्नौजिया की तलाश में आज करीब 8 बजे बलिया एसओजी टीम गोला के भरसी गांव सादे कपड़े में पहुंची थी.
पन्नेलाल से पूछताछ
दो साल से नरही के थानाध्यक्ष पद पर पन्नेलाल तैनात था और 2012 में दरोगा बना था. अगस्त 2022 में ही नरही थाने पर उसकी तैनाती हुई और तब से गुरुवार को निलंबन होने और केस दर्ज होने तक नरही थानाध्यक्ष ही रहा. यूपी-बिहार बॉर्डर भरौली पर ट्रकों से अवैध वसूली करने का काम पन्नालाल ने थाने के पुलिसकर्मियों को दिया था ऐसे आरोप हैं. पकड़े जाने पर बलिया पुलिस पन्नेलाल से इस संबंध में आगे की पूछताछ में लगी है.
2012 में दरोगा बना पन्नेलाल
पन्नेलाल 2012 में उत्तर प्रदेश पुलिस में दरोगा बना था. वह अगस्त 2022 से बलिया के नरही थाने पर तैनात था और बीते गुरुवार को निलंबन और मुकदमा दर्ज होने तक वह नरही का थानेदार रहा. उसकी गिरफ्तारी के लिए तीन जिलों की पुलिस को लगाया गया था. इस प्रकरण की जांच आजमगढ़ के एसपी शुभम अग्रवाल को सौंपी गई है. ऐसे में एसओजी टीम आजमगढ़ को बड़ी सफलता पन्नेलाल की गिरफ्तारी के रूप में मिली है. आरोप है कि इंस्पेक्टर पन्नेलाल ट्रकों से अवैध वसूली का बड़ा रैकेट चला रहा था. वसूली से बचने के लिए कुछ ट्रांसपोर्टर ने सीधे पन्नेलाल से संपर्क कर रेट तय किए थे. ऐसे ट्रांसपोटरों को भरौली तिराहा और कोरांटाडीह पुलिस चौकी के सामने नहीं रोका जाता था।
ट्रकों से वसूली मामले में इन पुलिसकर्मियों पर हुई है कार्रवाई
वसूली मामले मेंथानाध्यक्ष नरही पन्नेलाल और चौकी प्रभारी कोरंटाडीह सहित 3 सब इंस्पेक्टर, 3 हेड कांस्टेबल, 10 कांस्टेबल और एक चालक को निलंबितत किया जा चुका है. निलंबित पुलिसकर्मियों के आवास को सील करते हुए सभी के विरुद्ध मुकदमा भी दर्ज किया गया है.
पुलिस चला रही थी वसूली गैंग
डीजीपी प्रशांत कुमार को शिकायत मिली थी कि बिहार बॉर्डर पर बलिया पुलिस वसूली गैंग चला रही है. जिसके बाद एडीजी वाराणसी को रेड करने की जिम्मेदारी सौंपी गई थी. रेकी करने पर एडीजी और डीआईजी आजमगढ़ को पता चला कि यूपी बिहार सीमा पर बक्सर, बिहार से बलिया में आने वाले ट्रकों से थाना नरही के भरौली तिराहा पर पुलिस कर्मियों द्वारा कुछ दलालों के माध्यम से अवैध वसूली करायी जा रही है. इसके बाद एडीजी पीयूष मोर्डिया और डीआईजी वैभव कृष्ण बीते बुधवार रात करीब डेढ़ बजे पांच टीम के साथ भरौली तिराहे पर पहुंचे, जहां ट्रकों से पुलिसकर्मियों द्वारा की जा रही वसूली की सूचना सही पाई गई. मौके से एक आरक्षी हरदयाल सिंह गिरफ्तार हुआ और एक मुख्य आरक्षी विष्णु यादव, दो आरक्षी दीपक मिश्रा और बलराम सिंह कुल तीन पुलिसकर्मी भाग गए. पुलिस कर्मियों द्वारा प्राइवेट व्यक्तियों को दलाल के रूप में प्रयुक्त कर वसूली की जा रही थी. 16 दलाल भी पकड़े गए.
किसके किसके खिलाफ क्या कार्रवाई हुई
थानाध्यक्ष नरही उपनिरिक्षक पन्नेलाल, चौकी प्रभारी कोरण्टाडीह राजेश कुमार प्रभाकर सहित कुल-07 पुलिसकर्मी (मुख्य आरक्षी हरिदयाल सिंह, मुख्य आरक्षी विष्णु यादव, आरक्षी सतीश गुप्ता, आरक्षी दीपक मिश्रा, आरक्षी बलराम सिंह) एवं 16 दलालों के विरूद्ध मुकदमा लिखा गया है. मुकदमे में 02 पुलिसकर्मी आरक्षी हरिदयाल सिंह थाना नरही, आरक्षी सतीश गुप्ता चौकी कोरण्टाडीह और 16 दलाल गिरफ्तार किए गए. दोषी पाए जाने पर थानाध्यक्ष नरही पन्नेलाल को निलम्बित किया गया है.